हवाई जहाज को सिर्फ सफेद रंग से ही क्यों पेंट किया जाता है , क्‍या आपने कभी सोचा है कि हवाई जहाजों पर सफेद रंग क्‍यों किया जाता है। बहुत से लोगों को यह बात पता नहीं होगी। जब प्‍लेन को फैक्‍टरी से बाहर लाया जाता है तो उस पर हरे रंग की पट्टी होती है जिसे बाद में सफेद रंग से रंग दिया जाता है। आइये हम आपको बताते हैं इसकी वजह क्‍या है।

अधिकांश मामलों में केबिन को ठंडा रखा जाना फायदे की बात हो सकती है। एक सफेद पदार्थ प्रकाश की किरणों को तेजी से रिफ्लेक्टं करती है, ताकि प्रकाश गरमी में तब्दीसल नहीं हो सके। सफेद रंग करने का यह एक बड़ा कारण है।

प्ले न के ढांचे पर आए स्क्रे च, डेंट और धब्बोंस को पहचानना आसान हो जाता है। सफेद रंग करने के पीछे दृश्य ता एक बड़ा कारण है। विमान दुघर्टना की स्थिति में सफेद रंग आसानी से पानी व जमीन दोनों जगह पहचाना जा सकता है। अंधरे में भी सफेद रंग को खोजना आसान रहता है।

विमान पर अन्यफ रंग करने से उसकी रीसेल वैल्यून कम हो जाती है। सफेद रंग पोतने के बाद विमान मालिकों को उसे दोबारा रंगने की जरूरत नहीं पड़ती। केवल कंपनी का नाम और लोगो ही बदलना काफी होता है। यह एक आर्थिक कारण भी है।

सफेद रंग अन्‍य रंगों की तरह फीका नहीं पड़ता। इसका रखरखाव भी आसान है। आमतौर पर सूर्य की गर्मी के कारण रंग फीके पड़ने लगते हैं। तीस हजार की फीट की ऊंचाई पर अल्‍ट्रावायलेट किरणों के कारण भी रंग उड़ता है। सफेद रंग पुराना होने पर भी ठीक दिखता है। गहरे रंग जल्‍दी ढल जाते हैं।

एक प्‍लेन की पेंटिंग में 50 से 200 हजार यूएस डॉलर का खर्च आता है। पूरी तरह से रंगे गए प्‍लेन पर 250 किलो का अतिरिक्‍त वजन आता है जबकि पॉलिश के बाद यह वजन केवल 25 किलो ही रह जाता है। जेट एयरलाइन ने अपने संचालन खर्च में से दो फीसदी खर्च प्‍लेन को रिपेंट करने में लगाया।

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