एक पुरानी कहावत के अनुसार प्रॉबलम जितनी चोटी हो उसे उतना ही जल्दी खत्म कर देना चाहिए। वरना कब छोटी बात बड़ी बन जाये किसी को पता नहीं कुछ ऐसा ही हुआ ब्रिटिश एयरवेज के साथ। ब्रिटिश एयरवेज को प्‍लेन में टॉयलेट पेपर ना रखना बहुत महंगा पड़ा। कंपनी को एक टॉयलेट पेपर की वजह से करोड़ों का घाटा उठाना पड़ेगा।

ब्रिटिश एयरवेज की एक फ्लाइट उड़ान भरने वाली थी तब इसके बाथरुम में टॉयलेट पेपर की कमी देखी गई। पेपर न होने के कारण फ्लाइट पांच घंटे देरी से उड़ी। यात्रियों को देरी से पहुंचाने के लिए ब्रिटिश एयरवेज को मुआवजा देना होगा। मुआवजा के तौर पर एयरवेज को करीब 2.36 करोड़ रुपए का मुआवजा देना होगा। बता दें कि फ्लाइट दोपहर करीब 1.40 बजे लंदन से बारबाडोस के लिए उड़ान भरने वाली थी। इससे पहले की फ्लाइट उड़ान भरती यात्रियों से कहा गया कि फ्लाइट में कुछ गड़बड़ी की वजह से उड़ान देरी से भरी जाएगी।

यात्रियों को देरी की वजह कोई एक नहीं बल्कि हर बार अलग-अलग बताई गई। किसी से कहा गया क्लीनिंग का काम चल रहा है तो किसी से टेक्नीकल प्रॉब्लम बताया गया। वजह बताकर कहा गया कि देरी होने के लिए खेद है लेकिन फ्लाइट जल्द ही रवाना कर दी जाएगी। यूरोप में विमानन कंपनियों का एक नियम है। फ्लाइट के देरी होने प्रत्येक यात्रियों को करीब 48.750 हजार रुपए हर्जाना देना पड़ता है। ब्रिटिश एयरवेज को दोनों ओर की फ्लाइट के लिए करीब 2.36 करोड़ रुपए का हर्जाना देना होगा।

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