मर्दों को भी होते हैं पीरियड्स!

मर्दों को भी होते हैं पीरियड्स। अरे ये कोई मज़ाक नहीं है बल्कि सच है। जिस तरह महिलाओं को हर महीने महवारी यानि की पीरियड्स आते हैं, ठीक उसी तरह मर्दों को भी पीरियड्स होते हैं।

कई रिसर्च भी ये साबित कर चुकी हैं कि पुरुषों के हार्मोंस में मासिक चक्र की तरह बदलाव आता है। अगर आपका पार्टनर चिड़चिड़ा होता है, कई बार अचानक इमोशनल हो जाता है या उसमें मूड में उतार-चढ़ाव आता है तो हो सकता है कि उनका हार्मोंस बदलने का मासिक चक्र चल रहा हो। आपको इस दौरान अपने पार्टनर को समझने की जरूरत है और उसका साथ देने की जरूरत हैं।  ऐसे समय में पार्टनर को गले से लगाएं उन्हें सहानुभूति दें तभी वे इस हार्मोनल उतार-चढ़ाव से लड़ पाएंगे।

एक हालिया सर्वे में कई महिलाओं ने अपने पार्टनर्स का इंटरव्यू किया, जिसमें उनके पार्टनर ने कई ऐसी कंडीशंस के बारे में बताया जो आमतौर पर मासिक धर्म से संबंधित हैं जैसे  थकान, संवेदनशीलता, एंजाइटी, मूड बदलना जैसे लक्षण।

तकरीबन 45 फीसदी महिलाओं ने इस सर्वे में भाग लिया जिनका कहना था कि उन्होंने हर महीने के कुछ दिनों में अपने पार्टनर्स में ये लक्षण देखें हैं तकरीबन 50 फीसदी महिलाओं ने ये स्वीकार किया कि उनके पति पीरियड्स के दौरान यानी हार्मोंस बदलाव के दौरान चिड़चिड़े हो जाते हैं।

आईएमएस यानी इरिटेबल मेल सिंड्रोम (IMS) के लक्षणों में कन्यूजन, सेक्स इच्छा में कमी, एंजाइटी, थकान, गुस्सा आना, डिप्रेशन, मूड बदलना और सुस्ती आना जैसे लक्षण शामिल है। आमतौर पर वही महिलाएं पुरुषों के इन लक्षणों को पहचान सकती हैं जो उनके बेहद करीब हैं।

रिसर्च ने ये भी दावा किया कि पुरुष हार्मोंस बदलने के दौरान हर घंटे में हार्मोंस स्तर में बदलाव को महसूस कर पाते हैं।  टीनेज, युवावस्था और मिड लाइफ में ये बदलाव बहुत अधिक महसूस होता है बाकी उम्र के पड़ाव में पुरुषों को ये कम ही महसूस होता है।

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