खाना आज खाओ, बिल कल चुका देना, नोटबंदी का असर , 500 और 1000 रुपए के नोटों का चलन बंद हो चुका है। आमजन को खुल्ले रुपए नहीं होने के कारण परेशान होना पड़ रहा है। ऐसे में हाइवे के ढाबा संचालक खुल्ले रुपए नहीं होने के बाद भी ट्रक ड्रायवरों और अन्य लोगों को खाना खिला रहे हैं, वे कहते हैं कि पेटभर खाना खाओ जब अगली बार यहां से गुजरो तो बिल चुका देना। इसी तरह किराना व्यवसायी और अन्य छोटे व्यापारी भी लोगों को जरूरत की वस्तुएं उधार उपलब्ध करा रहे हैं।
इंदौर-इच्छापुर हाइवे पर देशगांव और छैगांवमाखन के ढाबों पर पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, आंध्रप्रदेश सहित देश के अन्य क्षेत्रों के ट्रक रुकते हैं। इनके ड्रायवर और हेल्पर के पास 500 और 1000 के नोट होने के कारण उन्हें परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। देशगांव के ढाबा संचालक गणपत राठौर ने बताया कि पंजाब और हरियाणा की ओर से आ रहे ट्रक ड्रायवर बड़े नोट लेकर आ रहे हैं। हम 500-1000 के नोट तो नहीं ले सकते लेकिन उन्हें भोजन जरूर करा रहे हैं। वे इस रूट पर ट्रक लाते रहते हैं। हम उन्हें कह रहे हैं कि अगली बार जब यहां से गुजरो तब रुपए दे देना।
