कुछ साबुनों में ऐसे रसायन पाए जाते हैं जो हार्मोन में बदलाव लाते हैं। अमेरिका में ऐसी एंटी बैक्टीरियल साबुन पर रोक लगाने की मांग की जा रही है। साबुनों में ट्रिकलोसन और ट्रिकलोकार्बन जैसे रसायनों का इस्तेमाल किया जाता है, जिससे सेक्स लाइफ को काफी नुकसान हो सकता है। सरफेक्टेन्ट एक प्रकार का रसायन है, जोकि पानी और साबुन का मिश्रण होता है। यह गंदगी को तो दूर करता है लेकिन इससे त्वचा पर उल्टा प्रभाव पड़ता है।
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रोजमर्रा में प्रयोग लाए जाने वाले साबुनों में खुशबू, डिटर्जेट और कई तरह के रसायन प्रयोग होते हैं, जो त्वचा को तो निखार कर देते हैं, लेकिन नमी छीन लेते हैं। और साथ ही साबुनों की वजह से शरीर में जमा अच्छे बैक्टीरिया का भी नाश हो जाता है। फेरोमोन्स एक प्रकार का कैमिकल है जो अपोजिट सेक्स का ध्यान खींचने में सहायक होता है। यह कैमिकल हमारे पसीने में मौजूद होता हैं, जो नहाने के साबुन की वजह से धुल जाता है। यह साबुन फेरोमोन्स नामक कैमिकल को नष्ट करके सेक्स करने की इच्छा को कम करता है।