दुनिया में जितने भी देश हैं उन सब के अपने कायदे और कानून हैं। पुराने समय में सजाए मौत देने के तरीके इतने भयानक और दिल दहलाने वाले हुआ करते थे कि सुनकर ही रूह कांप उठती है। आज हम आपको अलग अलग देशों में दी जाने वाली मौत की सज़ा के बारे में बताएंगे। हालांकि समय के बदलाव के साथ साथ अब मृत्यु दंड देने के तौर तरीके काफी बदल गए हैं।
1. तोप के मुंह पर बांधकर उड़ा देना
19 वीं शताब्दी में अंग्रेजों द्वारा यह । अंग्रेजों ने कई हिंदुस्तानियों को इस तरह तोप के मुंह पर बांधकर उड़ा दिया। इस सजा में व्यक्ति के तत्काल चीथड़े उड़ जाते थे और वह तड़पता नहीं था। हमारे कई स्वतंत्रता संग्राम सेनानी हंसते-हंसते तोप के मुंह पर बंधे थे।
2. आरी से कटवा देना
यह सजा मध्यकाल में प्रचलित थी। इसमें व्यक्ति को सीधा खड़े करके या उल्टा लटकाकर, दोनों तरह से आरी से चीरा जाता था। उल्टा लटकाने वाला तरीका ज्यादा दर्दनाक होता था, क्योंकि तब शरीर लिंग से लेकर पेट तक चिर जाता, लेकिन दिमाग एक्टिव रहता था, इसलिए व्यक्ति को भयंकर दर्द का अहसास होता। चीन में इंसान को बीच से काट दिया जाता था, जिससे उसकी मौत तुरंत हो जाती।
3. ज़िंदा इंसान के छाती कटवा देना
आपको यह जानकर हैरानी होगी कि चीन में 1905 तक लिंग ची कहलाने वाले क्रूर तरीके से मौत की सजा दी जाती थी। इसके बाद इस पर प्रतिबंध लगा दिया गया। लिंग ची के तहत सबसे दुष्ट प्रकार के क्रिमिनल्स को चौराहे पर बांधकर तेज धार वाले चाकू से जगह-जगह काटा जाता था। पहले उसकी छाती और जांघों का मांस काटा जाता। फिर नाक, कान, उंगलियां, लिंग आदि काटे जाते। इस प्रक्रिया में सैकड़ों बार चाकू चलाया जाता। मांस के लोथड़े निकाले जाते। इतना सब होने के बाद भी अपराधी मरता नहीं था, तड़पता रहता, तो चाकू से उसका दिल निकाल लिया जाता। अगर शासक को किसी अपराधी पर थोड़ी-बहुत दया आ जाती, तो लिंग ची से पहले उसे अफीम पिला दी जाती थी, ताकि उसे दर्द का अहसास कम हो।
4. नाव में नरक का अहसास
प्राचीन फारस में ऐसी सजा दी जाती थी। इसमें अपराधी को एक नाव में बांध दिया जाता था। उसे जबरदस्ती ढेर सारा दूध और शहद पिलाया जाता, ताकि उसे दस्त शुरू हो जाएं। फिर उसके शरीर पर भी दूध-शहद डाल दिया जाता। नाव जंगल के बीच एक तालाब मे रहती थी। दूध और शहद कई तरह की चींटियों, कीड़े-मकोड़ों को आकर्षित करता था। इंसान के दस्त से भी ऐसे जीव वहां बड़ी तादाद में जुट जाते। करोड़ों की संख्या में ये कीड़े-मकोड़े उस इंसान को काटने लगते। धीरे-धीरे उसका शरीर सड़ने-गलने लगता। वह भूख-प्यास से बेहाल हो जाता। इस तरह अंतत: तड़प-तड़प कर उसकी मौत हो जाती।
5. घोड़ों से बांधकर खिंचवाना
यह सजा रोमन साम्राज्य में दी जाती थी। इसमें अपराधी या दुश्मन के हाथ-पैरों को चारों दिशाओं में चार घोड़ों से बांध दिया जाता था। इसके बाद घोड़े विपरीत दिशाओं में ताकत लगाकर चलने लगते। इससे व्यक्ति के हाथ-पैर शरीर से अलग हो जाते और बेहद दर्द तथा शॉक से उसकी मौत हो जाती। इसके बाद घोड़ों के पीछे बंधे हाथ-पैर शहर में घुमाए जाते, ताकि बाकी लोग डरें।
6. भूखे शेरों के सामने डाल देना
प्राचीन रोम में एम्फीथिएटर और कोलोशियम बनाए गए थे। वहां मनोरंजन की एक्टिविटीज होती थीं। इसके लिए अपराधियों को तरह-तरह से मारा जाता था। उन्हें भूखे शेरों के सामने डाल दिया जाता था। ऊपर से बहुत सारे लोग देखते और तालियां बजाते। नीचे शेर उस अपराधी को नोंच डालते।