ये इश्क नहीं आसां बस इतना समझ लीजै, ऐसी प्रेम कहानी आपने कभी नहीं सुनी होगी , पश्चिमी चंपारण में करीब छह महीने पूर्व एक मिस्ड कॉल से शुरू हुआ प्यार का सफर आखिरकर अंजाम तक पहुंच ही गया। प्रेमिका महीनों तक प्रेमी से मोबाइल पर बात करती रही। इनका प्रेम जब परवान चढ़ा तो दोनों ने घर से भाग कर शादी करने का निर्णय लिया और एक दिन घर से भाग भी गए।

जब प्रेमी से प्रेमिका की पहली मुलाकात हुई और उसे पता चला कि जिसके साथ वह जिंदगी गुजारने के लिए अपने जन्मदाता को छोड़ कर भागी है वह दिव्यांग(पैर से) है। इसके बावजूद दीवानगी कम न हुई । प्रेमिका के इन्कार करने के डर से प्रेमी ने मोबाइल पर महीनों तक हुई बातचीत में अपनी दिव्यांगता छुपाई। लेकिन प्रेमिका के अटूट प्यार ने सिर्फ उस दिव्यांग की हौसला बढ़ा दी। बल्कि जीवन जीने का नजरिया ही बदल दिया।

पुलिस ने प्रेमिका का बयान लिया। उसने परिजनों के साथ जाने से इन्कार कर दिया। युवती का कहना है कि उसने सच्चा प्रेम किया है। कोई उन्हें जुदा नहीं कर सकता। दूसरी ओर लड़की के माता-पिता का कहना है कि लड़का जातीय रूप से उच्च वर्ग से है, समाज इस रिश्ते को स्वीकार नहीं करेगा। उधर लड़के का दावा है कि दोनों ने शादी कर ली है। वह दुकान चलाता है और दोनों का भरण-पोषण करने में सक्षम है।

इस मामले में महिला थानाध्यक्ष जितेंद्र महतो ने बताया कि लड़की नाबालिग है। परिजनों ने अपहरण की प्राथमिकी दर्ज कराई थी। न्यायालय में बयान दर्ज कराने के बाद न्यायालय के आदेश पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।

दोनों पैरों से दिव्यांग प्रेमी अपनी प्रेमिका को लेकर अपने भाई के ससुराल चला गया। जहां कथित रूप से दोनों ने शादी रचा ली। उधर, लड़की के घर वालों ने खोजबीन के बाद अपहरण की प्राथमिकी दर्ज करा दी। पुलिसिया जांच शुरू हुई तो मामला लव एंगल का निकला। फिर मोबाइल लोकेशन के आधार पर पुलिस ने दोनों को ट्रैक किया और पुलिस टीम ने प्रेमी युगल को नौतन थाना क्षेत्र के श्रीनगर पटजिरवा से पकड़ लिया गया।

 

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