भारत में नोट बंदी के बाद लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।  बैंक खुलने के बाद भी पैसों के ना होने से लोग बोखला गए हैं। लेकिन कोलकाता में एक अनोखा मामला सामने आया है। अस्पताल वालों ने नोट लेने से माना कर दिया तो परिवार वाले इलाज के लिए जमा करने के लिए 40000 रुपए के सिक्के थैले में भर कर ले आए।

मामला कलकत्ता के न्यू अलीपोर के बीपी पोद्दार हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर का है। जहां कांता छावले नामक मरीज को उसके परिवार वालों ने को डेंगू के ट्रीटमेंट के लिए एडमिट करवाया गया।  बुधवार को हॉस्पिटल ने सुकान्ता के घरवालों से उनके डिस्चार्ज होते वक़्त 40,000 रुपये जमा करने को कहा। जब परिवार वालों ने हॉस्पिटल को चेक थमाया, तो ये जानते हुए भी कि नई पॉलिसी के हिसाब से हॉस्पिटल चेक ले सकता है, उन्होंने इसे लेने से मना कर दिया। 500-1000 के नोट न चलने की वजह से इनके पास बस चेक ही एक साधन था। लेकिन हॉस्पिटल की तरफ से इस बाबत कोई मदद नहीं मिली। मजबूरी में परिवार को अपने दोस्तों और रिश्तेदारों की मदद लेनी पड़ी।

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