सख्ती करने पर उदयन ने अपना जुर्म कुबूल लिया। उसने बताया कि उसने किसी विवाद को लेकर श्वेता की दिसंबर के अंतिम हफ्ते में गला दबाकर हत्या कर दी। हत्या के बाद उसने तीन फीट ऊंचा और इतना ही चौड़ा प्लेटफार्म बनाया। इसके बीच में लोहे के बक्से में शव रखकर उसमें 10 बोरी सीमेंट का घोल बनाकर भर दिया।
फिर संगमरमर लगाकर उसे पैक कर दिया। वहीं पुलिस से पूछताछ में उदयन ने बताया कि मां छत्तीसगढ़ से रिटायर्ड डीएसपी है, जबकि पिता भेल से सेवानिवृत्त हैं। हालांकि, पुलिस को बाद में उदयन ने कहा कि पिता की मौत हो चुकी है, जबकि मां अमेरिका में रह रही हैं।
श्वेता जून 2016 में घर से नौकरी करने का कहकर भोपाल आई थी। तब से वह वॉट्सएप के जरिए परिजनों के संपर्क में रही। दिसंबर में परिजनों से संपर्क टूट गया। जनवरी 2017 के पहले हफ्ते में परिजनों ने उसकी गुमशुदगी दर्ज कराई। जांच में मृतका के फोन की कॉल डिटेल साकेत नगर आई थी